Bhopal : भोपाल के प्रशासन अकादमी में जारी आईएएस सर्विस मीट 2023 के उद्घाटन मौके पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अफसरों को कई नसीहतें दीं। उन्होंने अपने अनुभव साझा करते हुए अधिकारियों को दैनिक जीवन में संतुलन बनाए रखने की सीख भी दी। बता दें कि, यह मीट 22 जनवरी तक चलेगी। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने अफसरों को कई चीजों के बारे में जानकारी दी, साथ ही अच्छा काम कर रहे, सिस्टम में इनोवेशन कर रहे कलेक्टर्स की तारीफ भी की।

फील्ड का दौरा करें…

मुख्यमंत्री ने कहा कि, फील्ड के अफसर काम करते हैं, लेकिन मैं वल्लभ भवन में हमेशा कहता हूं कि, फील्ड में दौरा होने चाहिए, क्योंकि इसके बगैर सच का पता लगाना मुश्किल हो जाता है। अगर अपने से नीचे काम करने वालों से रिपोर्ट मांगेंगे तो वह लोग तो कहेंगे ही कि, आप काम बहुत बढिय़ा करते हैं लेकिन, जब सिंचाई की योजना देखने चला गया तो पता लगा कि, वहां टेल तक पानी नहीं है। कई जगह नहरें कटी-फटी पड़ी हैं।

परिवार-बच्चों के लिए समय निकालें

मुख्यमंत्री ने अपने कई किस्से आईएएस, कलेक्टर और अन्य विभागों के अफसरों के साथ साझा किए। सीएम ने अफसरों से कहा कि नौकरी के व्यस्त समय में से अपने परिवार और बच्चों के लिए भी समय निकालें। कई बार काम के चक्कर में बच्चों पर ध्यान देना रह जाता है। बच्चों की पढ़ाई का भी ध्यान रखें। मैं हर साल के अंत में परिवार के साथ बाहर जाता हूं। इस साल भी गया था, तो दोनों बेटों को गीता के 18 अध्याय पढ़ाए। आप लोग भी परिवार और नौकरी में बैलेंस बनाएं रखें।

जन-कल्याण का माध्यम है भारतीय प्रशासनिक सेवा

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि भारतीय प्रशासनिक सेवा, व्यक्ति को समाज, देश और प्रदेश के विकास तथा जन-कल्याण का अवसर प्रदान करती है। यहां हमें अपने विजऩ से विकास और सेवा का अवसर मिलता है। भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों से अपेक्षा है कि वे पारदर्शी, तकनीकी समझ से परिपूर्ण, सृजनशील दृष्टिकोण से युक्त, कल्पनाशील और नवाचारी हों। यह भी आवश्यक है कि वे सक्रिय, विनम्र, व्यावसायिक रूप से दक्ष, प्रगतिशील, सक्षम और ऊर्जावान रहें। इन सब के साथ यह भी आवश्यक है कि अधिकारी संवेदनशील हों।

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आप मेरी टीम नहीं, परिवार के सदस्य हैं

मुख्यमंत्री चौहान ने आईएएस ऑफिसर्स एसोसिएशन द्वारा आयोजित सर्विस मीट को संबोधित करते हुए कहा कि आप मेरी टीम नहीं, परिवार के सदस्य हैं। हम सब एक मिशन और लक्ष्य के लिए काम कर रहे हैं। हमने कोविड के कठिन काल में जिन चुनौतियों और कठिनाइयों में कार्य किया, वह अकल्पनीय है। कई अधिकारियों ने कोविड प्रभावित होने के बाद भी व्यवस्थाएं संभाली और जन-सहयोग से नवाचार और परिश्रम की पराकाष्ठा के साथ प्रदेश को कोविड क्राइसिस से मुक्त करने का मार्ग प्रशस्त किया। प्रदेश में अन्य राज्यों से आए मजदूरों को भी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई गईं। मुख्यमंत्री चौहान ने टीम मध्यप्रदेश की प्रशंसा करते हुए कहा कि प्रदेश ने श्रेष्ठतम कोविड प्रबंधन का परिचय दिया।