Indore Bawdi incident : इंदौर के पटेल नगर में रामनवमी पर हुए दर्दनाक बावड़ी हादसे में मौत का आंकड़ा बढ़कर 36 पर पहुँच चुका है। बता दें कि 24 घण्टे बाद आज शुक्रवार को आखिरी शव बावड़ी से निकाल लिया गया है जिसके बाद राहत और बचाव कार्य पूरा हो चूका है। गौरतलब है कि कल रामनवमी के मौके पर लोग पटेल नगर स्थित बेलेश्वर महादेव मंदिर की बावड़ी पर बने मंदिर पर बैठकर हवन कर रहे थे इस दौरान अचानक कुएं पर बनी छत धंस गई। इसके चलते इस पर मौजूद लोग कुएं में गिर गए। इनमें महिला और बच्चे भी शामिल हैं।

कैसे हुआ हादसा

मध्य प्रदेश के इंदौर में बेलेश्वर महादेव मंदिर में गुरुवार को रामनवमी की पूजा चल रही थी। इसी दौरान बड़ा हादसा हुआ, जब मंदिर में बनी बावड़ी (कुएं) की छत धंस गई। जिसमें गिरने से 36 लोगों की जान जा चुकी है। जानकारी के मुताबिक, मंदिर में पुराना कुआं था जिसे भरा नहीं गया, बल्कि इसकी छत को ढक दिया गया था। इसी छत के धंसने से भीषण हादसा हुआ। कुआं कम से कम 50-60 फीट गहरा और पानी से भरा हुआ था।

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घटना से जुड़े अपडेट्स…

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार सुबह घायलों और उनके परिजन से मुलाकात की। उन्होंने कहा- ‘घायलों का इलाज सरकार कराएगी।प्रदेश में ऐसे ढंके हुए कुएं-बावड़ी की तलाश कर खोले जाएंगे ताकि फिर कोई हादसा न हो।’ इसके बाद घटनास्थल का दौरा भी किया।

इंदौर नगर निगम के बिल्डिंग ऑफिसर और बिल्डिंग इंजीनियर को सस्पेंड किया गया।

सुनील सोलंकी एक अन्य व्यक्ति ललित सेठिया में साथ हवन में शामिल थे। जब वह गिरे तो इन्होंने कई लोगों की जान भी बचाई थी, लेकिन किसी ने इन्हें ही पानी में खींच लिया और वह डूब गए। सुनील साइकलिस्ट भी थे। अभी टीम एक बार फिर बावड़ी की तलाशी लेगी की कोई और तो नहीं है। इसके बाद रेस्क्यू आपरेशन खत्म कर दिया जाएगा।

पूर्व पार्षद सहित दो पर केस दर्ज

इस पूरे मामले में इंदौर पुलिस ने दो लोगों पर गैर इरादतन हत्या का मामला दर्ज किया गया है। इसमें पूर्व पार्षद और मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष सेवाराम गलानी और एक सचिव मुरली सबनानी शामिल है। पुलिस आयुक्त मकरंद देऊस्कर ने इस बात की पुष्टि की है।

प्रदेश भर में खुले कुंए व बोरवेल की जांच होगी- मुख्यमंत्री

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। लगातार रेस्क्यू आपरेशन चल रहा है। पूरा प्रशासन और मैं रातभर बैठकर इस पूरे घटनाक्रम पर नजर बनाए रखी थी। हमने घटना के मजिस्ट्रेट जांच के निर्देश दिए हैं। मामले में पुलिस केस भी दर्ज किया गया है। जांच पूरी होने के बाद दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

मृतकों का होगा अंगदान

बेलेश्वर महादेव मंदिर की बावड़ी के हादसे में अपनों को खोने का दुख तो जीवनभर नहीं भुलाया जा सकेगा, लेकिन दुनिया से जाने वालों की आंखें किसी जरूरतमंद की दुनिया में उजाला भर दें, इससे बड़ी बात और क्या होगी। वे तो नहीं दिखाई देंगे, लेकिन उनकी आंखों से जरूरतमंद देख पाएंगे। उनकी देह तो पंचतत्व में विलीन हो जाएगी, लेकिन त्वचा किसी की देह का आवरण बन जाएगी।

बावड़ी से निकाले गए शव जब एमवाय अस्पताल पहुंचाए गए तो वहां भी दर्द और आंसुओं का सैलाब बह रहा था। अंगदान कराने वाली संस्था के प्रतिनिधियों ने याद दिलाया तो डबडबाईं आंखों और डूबते मन के बीच मानवता जागृत हुई। मृत लोगों के स्वजनों ने अपनों की आंखें और त्वचा दान करने की सहमति दे दी। इस तरह आठ मृतकों की आंखें और इन्हीं में से तीन की त्वचा भी ली गई। अब दक्षा पटेल, इंद्र कुमार, भूमिका खानचंदानी, लक्ष्मी पटेल, मधु भम्मानी, जयंतीबाई, भारती कुकरेजा और कनक पटेल की आंखें और इंद्र कुमार, भूमिका और जयंतीबाई की त्वचा किसी जरूरतमंद के काम आएगी।

एक साथ निकलेगी शवयात्रा

सिंधी समाज और पटेल समाज के मृतकों का अंतिम संस्कार रीजनल पार्क में होगा। सिंधी समाज के 17 लोगों का 11, 12 और 2 बजे अंतिम संस्कार होगा। वहीं पटेल समाज के 11 मृतकों का अंतिम संस्कार 4 बजे होगा। 11 लोगों की शवयात्रा पटेल धर्मशाला से एक साथ निकलेगी। शाम चार बजे रीजनल पार्क ले जाएंगे। शुक्रवार को हादसे में मारे गए लोगों के शवों को पोस्टमार्टम के बाद परिजन अंतिम संस्कार के लिए ले जाने का सिलसिला जारी रहा।