Bhopal News: दसवीं कक्षा पास होने के बाद भी 11वीं क्लास में प्रवेश नहीं मिलने से नाराज एक छात्र ने ऐसा कदम उठाया कि उसकी जान जाते-जाते बच गई। मामला राजधानी भोपाल के कोलार इलाके का है। स्कूल प्रबंधन से नाराज चल रहा छात्र चार मंजिला इमारत की छत पर चढ़ गया और मुंडेर पर बैठकर नीचे कूदने की धमकी देने लगा। इस बात की जानकारी लगते ही, कोलार थाना पुलिस टीम मौके पर पहुंच गई और छात्र को समझा-बुझाकर नीचे उतारने की कोशिश की, लेकिन वह मानने को तैयार नहीं हुआ। इसी दौरान दो आरक्षकों ने छत पर पहुंच कर छात्र को बचाने का प्रयास किया। पुलिसवालों को अपने करीब देख छात्र ने छत से छलांग लगा दी। वह नीचे खड़े एसआइ जय कुमार सिंह के ऊपर आकर गिरा। इससे एसआइ को कंधे और हाथ में चोट आ गई। छात्र को भी मामूली चोटें आई हैं। दोनों को जेके अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
बिल्डिंग से कूदने से पहले इस्टाग्राम में एक पोस्ट शेयर की थी
बताया जा रहा है कि है कि छात्र ने बिल्डिंग से कूदने से पहले इस्टाग्राम में एक पोस्ट शेयर की थी। ऋषभ भट्ट नाम का एक छात्र तीन मंजिला इमारत पर चढ़ गया। बिल्डिंग से कूदने की धमकी देने लगा। जिसे देखने नीचे सैकड़ों लोगों भीड़ जमा हो गई। जानकारी के मुताबिक डीके तीन दानिश कुंज कोलार निवासी 18 वर्षीय ऋषभ भट्ट कोलार रोड स्थित रोज मैरी स्कूल में पढ़ता है। वह दसवीं कक्षा उत्तीर्ण करके 11 वीं में आया है। उसे स्कूल में प्रवेश नहीं दिया जा रहा था। इसको लेकर वह आए दिन स्कूल जाकर स्कूल प्राचार्य से अभद्रता कर धमका रहा था।
छत से कूदने से पहले छात्र ने सोशल मीडिया पर स्टोरी शेयर की थी। जिसमें लिखा था कि स्टोरी में लिखा मां कल शायद मैं नहीं रहूंगा। स्टोरी में मां से माफी भी मांगी। स्टोरी में पहले से ऋषभ भट्ट काफी उदास दिखा। ऋषभ भट्ट के इस आत्मघाती कदम के पीछे की स्टोरी भी सामने आ गई है। पुलिस उससे पूछताछ कर रही है।
अपराधिक रिकॉर्ड है-
बताया जा रहा है कि ऋषभ भट्ट पर शाहपुरा इलाके में मंदिर की पेटी चोरी करने के आरोप पर मामला दर्ज है। चोरी के मामले में ऋषभ भट्ट जेल भी जा चुका है। अपराधिक रिकॉर्ड होने के कारण स्कूल के शिक्षकों ने ऋषभ को पढ़ाने से इंकार किया था। ऋषभ स्कूल पर 11वीं की एग्जाम दिलाने का दबाव बना रहा था। कुछ दिन पहले शिक्षकों को चाकू लेकर धमकाने पहुंचा था।
आज भी एग्जाम में बैठाने को लेकर स्कूल गया था। स्कूल के एग्जाम में बैठाने से मनाकर करने पर छत से कूद गया। रोज मेरी स्कूल में एग्जाम में बैठाने से मनाकर करने पर आत्मघाती कदम उठाया है। उस पर अपराधिक मामला दर्ज है।
स्कूल प्रबंधन का तर्क, विवाद करता है-
रोज मेरी स्कूल की प्राचार्य नेहा अघ्वर्यु ने मीडिया को बताया कि वह पहले भी सहपाठी छात्रों से मारपीट करता था। जेल से छूटकर आने के बाद प्राचार्य से भी अभद्रता करता रहा है। स्कूल के छात्र और शिक्षक उसे प्रवेश देने से विद्यालय का वातावरण बिगडऩे की बात कहते हैं, इस कारण उसे प्रवेश नहीं दिया गया था। अभी कुछ दिन पहले से ही वह विद्यालय आना शुरू किया था। मैंने कहा था कि तुम्हारा व्यवहार व आचरण अच्छा रहा तो प्रवेश दिया जाएगा। चोरी के मामले में जेल जाने के बाद से स्कूल के छात्रों को भी आए दिन धमकियां देता रहता है।
CONCLUSION
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