Bhopal news : पुराने शहर के लखेरापुरा स्थित श्रीजी मंदिर में इन दिनों फागोत्सव चल रहा है। श्रद्धालुओं ने राधा-कृष्ण संग होली खेली और फूल-गुलाल बरसा कर उत्सव मनाया। फूल और गुलाल से यह नजारा बृजधाम जैसा हो गया। होली के नजदीक आते ही यहां होली तक रोज शाम को फूलों से होली खेली जाती है इसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल होते हैं।
होली उत्सव की शुरुआत
होली पर्व के नजदीक आते ही राजधानी में कई जगह आयोजन शुरू हो गए हैं। भोपाल शहर के अनेक मंदिरों में भी धार्मिक आयोजनों के साथ ही फागोत्सव आयोजन हो रहे हैं। वहीं, कई संस्थाएं भी होली पर्व पर कार्यक्रम कर होली उत्सव मनाया जा रहा है। हालांकि, कई संस्थाओं ने रंगों से दूरी बनाते हुए फूल व गुलालों वाली होली खेलने की अपील की है।
मुख्यमंत्री श्रमिकों के खातों में अंतरित करेंगे संबल योजना के 605 करोड़ रूपये
भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान आज 4 मार्च को रीवा के मऊगंज में संबल योजना के राज्य स्तरीय कार्यक्रम में 27 हजार 310 श्रमिक परिवारों को 605 करोड़ रूपये की अनुग्रह सहायता राशि सिंगल क्लिक से अंतरित करेंगे। योजना में निर्माण श्रमिकों के 3509 प्रकरणों में 75 करोड़ और संबल योजना के 23 हजार 801 प्रकरणों में 530 करोड़ रूपये की सहायता राशि हितग्राही के खाते में अंतरित की जायेगी।
श्रम सचिव संजय जैन ने बताया कि म.प्र. भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल तथा म.प्र. शहरी एवं ग्रामीण असंगठित कर्मकार कल्याण मण्डल द्वारा प्रदेश के असंगठित क्षेत्र में कार्यरत श्रमिकों एवं उनके परिवार के लिए अनेक योजनाएँ संचालित की जा रही हैं। इसमें अनुग्रह सहायता योजना में दुघर्टना में मृत्यु होने पर 4 लाख रूपये एवं सामान्य मृत्यु होने पर 2 लाख रूपये की सहायता दी जाती है। स्थायी अपंगता पर 2 लाख रूपये, आंशिक स्थायी अपंगता पर एक लाख तथा अंतिम संस्कार सहायता के रूप में 5 हजार रूपये प्रदान किये जाते हैं। संबल योजना में महिला श्रमिकों को प्रसूति सहायता के रूप में 16 हजार रूपये दिये जाते हैं और श्रमिकों के बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा भी उपलब्ध करायी जा रही है।
म.प्र. प्रदेश में असंगठित क्षेत्र में कार्यरत लाखों श्रमिकों के लिए संबल अत्यंत महत्वपूर्ण योजना है। योजना में श्रमिक को जन्म से लेकर मृत्यु तक आर्थिक सहायता प्राप्त होती है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा शुरू की गई यह योजना वास्तविक अर्थों में श्रमिकों का संबल है। योजना का देश के कई राज्यों ने अनुकरण किया है। प्रदेश के लाखों निर्माण श्रमिकों के लिए भी म.प्र. भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल द्वारा 18 योजनाएँ संचालित की जा रही हैं।