भोपाल। रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय व सहयोगी संस्थाओं द्वारा दो दिवसीय अंतराष्ट्रीय शोध और नवाचार महोत्सव ‘‘शोध शिखर 2023’’ का शुभारंभ हुआ। इस मौके पर मनोहर ममतानी ने कहा कि हम पहले से ही विश्वगुरु थे। भारत की प्राचीन संस्कृति, वास्तुकला अद्वितीय थी। हम सभी अपने अपने क्षेत्रों में मिलकर कार्य करेंगे तभी अमृतकाल में मजबूत राष्ट्र बनकर उभरेंगे। संतोष चौबे ने अपने वक्तव्य में कहा कि विश्वविद्यालय में शोध की संस्कृति है। आज साइंटिफिक टेंपरामेंट की आवश्यकता है। विश्वविद्यालय की प्राथमिकता सोशल कनेक्ट रही है। शोध के लिए भी 500 से अधिक समस्याओं को विश्वविद्यालयीन ने रेखांकित किया है और शोधार्थियों को समाधान के लिए लगातार प्रोत्साहित किया जाता है। विश्वविद्यालीन शोध में कोलेबोरेटिव रिसर्च परजोर दिया जा रहा है।

देश में इस तरह के प्लेटफॉर्म की आवश्यकता

डॉ. लोकेश शर्मा ने कहा कि विश्वविद्यालय के प्रयासों की सरहाना करते हुए कहा कि देश में इस तरह के प्लेटफॉर्म की आवश्यकता है। शोध में एप्लीकेबिलिटी और प्रोसेस डॉक्यूमेंटेशन पर बल दिया जाना चाहिए। डॉ. अजय सिंह ने कहा कि शोध शिखर की जरूरत पूरे देश और समाज को है। रिसर्च ऐसा होना चाहिए जिसके आउटकम दिखाई दें। सिकल सेल एनिमिया के क्षेत्र में, मेटरनल और चाइल्ड हेल्थ जैसे क्षेत्रों में अधिक शोध किए जाने की जरूरत पर बल दिया। प्रो. धीरज कुमार ने उद्योगों से कनेक्ट की बात करते हुए कहा कि शोधार्थियों को वेस्ट मैनेजमेंट, सस्टेनेबिलिटी, क्लाइमेट चेंज जैसे विषयों पर जोर देना चाहिए।

शोध, नवाचार और उद्यमिता हमारी प्राथमिकता

कार्यक्रम के प्रारंभ में स्वागत वक्तव्य देते हुए आईसेक्ट के निदेशक डॉ. सिद्धार्थ चतुर्वेदी ने आईसेक्ट समूह और रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय के कार्यों का जिक्र करते हुए कहा कि शोध, नवाचार और उद्यमिता हमारी प्राथमिकता रही है। विश्वविद्यालय ने कौशल विकास, भारतीय भाषाओं, ग्रामीण विकास के क्षेत्र में उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल की हैं। शोध शिखर भी इसी कड़ी में एक प्रयास है। डॉ. ब्रहम प्रकाश पेठिया ने कहा कि शोधार्थियों को शोध के लिए अपने कम्फर्ट क्षेत्र से बाहर आना चाहिए। इस महोत्सव में चयनित प्रोजेक्ट की प्रदर्शनी का उद्घाटन अतिथियों द्वारा किया गया।

कुछ महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट

एडवांस सेफ्टी व्हीकल एंड एक्सीडेंट अलर्ट सिस्टम, मल्टीलेवल फार्मिंग टेक्नीक, पेन रिलीफ डिवाइस, मधुमक्खी पालन में नई तकनीक का विकास, हाइड्रोपोनिक हरा चारा का किया विकास। इसके अलावा एग्जीबिशन में प्रमुख रूप से एविओसिअन टेक्नोलॉजीज दिल्ली ने ड्रोन मेन्यूफेक्चरिंग, ड्रोन स्किल डेवलपमेंट, ड्रोन रिसर्च एंड डेवलपमेंट, ड्रोन लैब सेटअप, ड्रोन पायलटिंग और ड्रोन एप्लिकेशन्स का एग्जीबिशन लगाया।

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इसके अलावा माइन इंस्ट्रूमेट्स प्रालि इंदौर द्वारा एग्जीबिशन में इलेक्ट्रिकल व्हीकल के लिए सॉल्यूशन, ईवी ट्रेनिंग सिस्टम, बैटरी मैनेजमेंट ट्रेनिंग सिस्टम इत्यादि की जानकारी दी गई। एग्जीबिशन में शामिल हुई रीगल मेडी सर्ज द्वारा फिटनेस प्रोडक्ट्स की जानकारी दी और बताया कि वे फिजियोथेरेपी, सर्जिकल, स्लिमिंग और फिटनेस के क्षेत्र में कार्यरत हैं। इसके अलावा आईसेक्ट फ्यूचर स्किल एकेडमी, आईसेक्ट लर्न और आईसेक्ट एकेडमी फॉर एनिमेशन मल्टीमीडिया और गेमिंग को प्रस्तुत किया गया। साथ ही रमन ग्रीन प्रालि द्वारा मिलेट प्रोडक्ट्स को पेश किया गया। आरएनटीयू के मेडिकल साइंस डिपार्टमेंट, फैकल्टी ऑफ नर्सिंग द्वारा क्लिनिकल हेल्थ चेकअप फेसिलिटी प्रदान की गई।